WhatsApp Channel Follow Me
Telegram Group Join Now

यदि आप एक CSC VLE IRCTC ऐजेंट है तो ध्यान दीजिये ||

दोस्तों यदि आप भी एक CSC VLE है और साथ हीं साथ CSC IRCTC एजेंट है और आप CSC IRCTC से ट्रेन का टिकेट काटते है तो फिर आपको यह जानना बहुत जरुरी है कि आपको क्या करना है और क्या नहीं करना है | जी हाँ दोस्तों यहाँ आपको ध्यान देना होगा कि जब भी आप CSC IRCTC से ट्रेन का टिकेट काटते है तो आपको किन  किन बातों का धयान रखना होगा | नहीं तो आप मुसीबत में पड़ जायेंगे | आपके उपर IRCTC कि तरफ से पैनल्टी 5000/- रूपये लगाया जा सकता है | इसीलिए दोस्तों आप सभी को जो CSC VLE IRCTC से ट्रेन का टिकेट काटते है तो निम्न बातों का ध्यान रखना बहुत हीं जरुरी है | 

  • जो कि इस प्रकार है :-

 

क्या करें :-

  1. आपको सुनिश्चित कर लेना है कि जो आप लेन-देन कर रहे हैं उसमें ग्राहक कि पूर्ण सहमति हो |
  2. आपको ग्राहक से बुकिंग और रद्दीकरण का लिखित/इलेक्ट्रॉनिक प्रमाण आपके सीएससी केंद्र में रखना है | साथ हीं साथ 6 महीने कि अवधि के लिये ग्राहक से आईडी प्रमाण कि एक प्रति भी रखना है |

NOTE:- इसका उल्लंघन करने पर आईआरसीटीसी द्वारा 5000/- पैनल्टी प्रति मामले पर लगाया जायेगा |

  1. टिकेट बुकिंग करते समय ग्राहक का हीं मोबाइल नंबर दर्ज करें |
  2. ग्राहक को अंतिम टिकेट का प्रिंट अवश्य दें |
  3. ग्राहक कि सहमति पर हीं टिकेट रद्द करें |
  4. टीडीआर अनुरोध को संसोधित करने से पहले ग्राहक से लिखित अनुरोध प्राप्त करना चाहिय |

NOTE:- इसका उल्लंघन करने पर आईआरसीटीसी द्वारा 5000/- पैनल्टी प्रति मामले पर लगाया जायेगा |

क्या नहीं करें :-

  1. टिकेट पर जितना उल्लिखित राशि है उतना हीं ग्राहक से लें | उससे अधिक शुल्क नहीं लेना है |
  2. व्यक्तिगत आईडी के माध्यम से टिकेट बुक करके व्यावसायिक उदेश्य के लिये ई-टिकटों को न बेचें |

NOTE:- इसका उल्लंघन करने पर आईआरसीटीसी द्वारा 20000/- पैनल्टी प्रति मामले पर लगाया जायेगा | और आईडी को ब्लॉक कर दिया जायेगा |

  1. आपका जो आईआरसीटीसी का एजेंट आईडी है उसे किसी और से साझा न करें |
  2. टिकेट को ट्रांसफर या पुनर्विक्रय न करें   यह भारतीय रेलवे नियमों के तहत धारा 142 के तहत दंडनीय अपराध है |
  3. किसी भी रूप में या प्रिंट मिडिया पर आईआरसीटीसी लोगो का प्रयोग न करें |
  4. ई-टिकेट पर किसी भी तरह का बदलाव/छेड़छाड़ न करें | यह भारतीय दंड संहिता कि धारा 420 के तहत दंडनीय अपराध है |

तो इस तरह आपने जाना कि आपको क्या करना है और क्या नहीं करना है |

आप सभी CSC VLE इन बातोँ का जरुर धयान रखें | ताकि भविष्य में आप पेनाल्टी से बच सकें |

यदि फिर भी आप लोगों को समझ में न आये तो मेरे इस विडियो को देख कर आप ठीक से समझ सकते हैं |

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *